सफलता की चाबी

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हम सब सफल होना चाहते है. सफलता पाने के लिए कुछ परिश्रमी लोग दिन - रात मेहनत करते है. कुछ लोग

सफल होने के लिए शॉर्टकट का प्रयोग करते है . इन वर्ग के लोगो को रातों रात सफलता चाहिए होती है . उसके

लिए वह कोई भी हद पार कर सकते है . यह कहानी इसी विषय पर आधारित है .

विनय आठवीं कक्षा का छात्र था. विनय को खेलकूद में अधिक दिलचस्पी थी . पढाई में उसका ज्यादा मन नहीं

लगता था. इसका कारण था उसका मेहनत न करना और बुरा संगती . विनय के पिताजी को विनय से काफी

उम्मीदें थी . विनय के पड़ोस में उसका दोस्त अमल रहता था . अमल पढ़ने में काफी तेज और कुशाग्र बुद्धि का

था. वह रात दिन मेहनत करता और हर विषय में अच्छे अंक लता था. सफलता की चाबी अमल के लिए उसकी

मेहनत थी . अगर हम परिश्रम पर ध्यान देंगे तो मंज़िल अवश्य प्राप्त होगी . सबसे महत्वपूर्ण चीज़ है अमल का

खुद पर विश्वास . आत्मविश्वास के बल पर हम बड़े से बड़े चुनौतियों को हरा सकते है .

विनय ने सोचा की परीक्षाएं सर पर है . उसने अछि तैयारी बिलकुल नहीं की है . पिचले परीक्षा का भी परिणाम

कुछ खास न था . विनय ने शार्ट कट का एक रास्ता अपनाया जो बिलकुल गलत था . अमल की तरह लगन और

दृढ़ संकल्प की एक भी बूंद विनय में न था , विनय ने परीक्षा में उत्तीर्ण होने के लिए छोटे छोटे कागजो पर उत्तर

लिखने का फैसला किया. अमल परीक्षा के दो दिन पहले विनय से मिला . दोनों एक साथ कोचिंग क्लास जाते थे .

वहा अमल को एक दुसरे सहपाठी से पता चला की विनय धोके का रास्ता अपना रहा है.

अमल ने विनय से बात करने की सोची . अमल ने विनय को समझाया "धोखा देना अनुचित है .बड़ो के उम्मीदों

पर खरे उतरने के लिए उसे धोका का नहीं , मेहनत और सच्चाई का मार्ग अपनाना होगा . आगे चलकर तुम

विधालय से निष्कासित हो सकते हो और किसी भी विधालय में तुम्हारा प्रवेश नामुमकिन हो जाएगा";

 विनय ने अमल की बातों पे ध्यान दिया और कहा - "पिताजी मुझसे नाराज़ हो जाएंगे , उनको मुझसे उम्मीदें है "; .अमल ने कहा की तुम पिताजी से कहना की अपने तरफ से पूरी कोशिश करूँगा और अगले साल आपको निराशा नहीं होगी . विनय ने दो रात जागकर पढाई की और सिर्फ पास हो गया . उसने पिताजी से बात की. पिताजी ने उसे समझाया की "पढाई की भी उतनी कदर करो जितना तुम खेलकूद की करते हो . अगले साल परिश्रम करो सफलता तुम्हारे कदम चूमेगी ". विनय के आखों में आसूं आ गए. उसने अमल को धन्यवाद दिया . अमल ने एक सच्चे साथी होने का परिचय दिया है . अमल जैसे दोस्त की ज़रुरत हर जगह है . अपने लक्ष तक पहुंचने के लिए परिश्रम के अलावा कोई दूसरा विकल्प नहीं है .